जिसकी जैसी भावना – भगवान बुद्ध की , प्रेरक कहानी Stories of Gautam budhdha

जिसकी जैसी भावना भगवान बुद्ध की प्रेरक कहानी  Inspirational Stories of Lord Buddha :

 

stories of Gautam budhdha
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जिसकी जैसी भावना

आज एक और नयी प्रेरक और ज्ञानवर्धक भगवान बुद्ध की लेकर आये हैं दोस्तों गौतम बुद्ध (563 ईसा पूर्व–483 ईसा पूर्व) को महात्मा बुद्ध, भगवान बुद्ध, सिद्धार्थ व शाक्यमुनि नाम से भी जाना जाता है ।

आज के भगवान बुद्ध की प्रेरक कहानी के का टॉपिक – जिसकी जैसी भावना !
कहानी छोटी हैं मगर बहुत कुछ सिखा सकती हैं इसलिए आशा करते हाँ आप इसे पूरा जरुर पढेंगे तो चलिए अब शुरू करते हैं इस बेहतरीन कहानी को –

Stories of Lord Buddha (गौतम बुद्ध की कहानियां)

एक बार बुद्ध कहीं प्रवचन दे रहे थे । अपनी देशना ख़त्म करते हुए उन्होंने आखिर में कहा, जागो, समय हाथ से निकला जा रहा है। सभा विसर्जित होने के बाद उन्होंने अपने प्रिय शिष्य आनंद से कहा, चलो थोड़ी दूर घूम कर आते हैं। आनंद बुद्ध के साथ चल दिए। अभी वे विहार के मुख्य द्वार तक ही पहुंचे थे कि एक किनारे रुक कर खड़े हो गये। प्रवचन सुनने ए लोग एक एक कर बाहर निकल रहे थे, इसलिए भीड़ सी हो गई थी। अचानक उसमे से निकल कर एक स्त्री गौतम बुद्ध से मिलने आयी। उसने कहा तथागत मै नर्तकी हूँ। आज नगर के श्रेष्ठी के घर मेरे नृत्य का कार्यक्रम पहले से तय था, लेकिन मै उसके बारे में भूल चुकी थी। आपने कहा, समय निकला जा रहा है तो मुझे तुरंत इस बात की याद आई । धन्यवाद तथागत !

उसके बाद एक डकैत बुद्ध की ओर आया। उसने कहा, तथागत मै आपसे कोई बात छिपाऊंगा नहीं। मै भूल गया था कि आज मुझे एक जगह डाका डालने जाना था कि आज उपदेश सुनते ही मुझे अपनी योजना याद आ गई। बहुत बहुत धन्यवाद!

उसके जाने के बाद धीरे धीरे चलता हुआ एक बूढ़ा व्यक्ति बुद्ध के पास आया। वृद्ध ने कहा, तथागत! जिन्दगी भर दुनियावी चीजों के पीछे भागता रहा। अब मौत का सामना करने का दिन नजदीक अत जा रहा है, तब मुझे लगता है कि सारी जिन्दगी यूँ ही बेकार हो गई। आपकी बातों से आज मेरी आँखें खुल गईं। आज से मै अपने सरे दुनियावी मोह छोड़कर निर्वाण के लिए कोशिश करना चाहता हूँ। जब सब लोग चले गये तो बुद्ध ने कहा, देखो आनंद! प्रवचन मैंने एक ही दिया, लेकिन उसका हार किसी ने अलग अलग मतलब निकाला। जिसकी जितनी झोली होती है, उतना ही दान वह समेत पाता है। निर्वाण प्राप्ति के लिए भी मन की झोली को उसके लायक होना होता है । इसके लिए मन का शुद्ध होना बहुत जरुरी है।

गौतम बुद्ध की कहानियां (Stories of Lord Buddha)

भगवान बुद्ध की इस प्रेरक कहानि को मैंने बचपन में सुना था इसलिए आज इसे मैंने आप लोगो के साथ शेयर किया हैं | आशा करता हु की आपको यह कहानी पसंद आई होगी |

गौतम बुद्ध की कहानियां (buddh stories in hindi) की इस पोस्ट में महात्मा गौतम बुद्ध से सम्बन्धित 7 प्रेरक और शिक्षाप्रद कहानियां हैं, जिसका सार जिंदगी का बदल सकता हैं |

गौतम बुद्ध की कहानियां(gautam buddha stories in hindi) की इस पोस्ट में आपको अपने जीवन को किर्थार्थ करने वाली जानकारी मिली हो तो कमेंट सेक्शन में अपने विचार जरूर शेयर करना.

महात्मा बुद्ध और ज्ञानवर्धक कहानी के लिंक निचे दिए गए हैं आप इन्हें भी जरुर पढ़ें –

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