हिंदी बेस्ट दर्द शायरी
कहीं भी उसे पनाह नहीं मिलती जिसको मोहब्बत बेपनाह हो जाये
मोहब्बत है या नशा था जो भी था कमाल का था रूह तक उतारते उतारते जिस्म को खोखला कर गया
कहाँ मिलता है अब कोई समझने वाला जोभी मिलता है समझा के चला जाता है
किसी को कितना भी प्यार दे दो आखिर में उसे थोड़ा कम ही लगता है